नई दिल्ली। केंद्र सरकार ने लोकसभा को बताया कि राष्ट्रीय साइबर अपराध रिपोर्टिंग पोर्टल ने 9.94 लाख शिकायतों के समाधान के माध्यम से 3,431 करोड़ रुपये से अधिक की बचत करने में मदद की है। नागरिक वित्तीय साइबर धोखाधड़ी रिपोर्टिंग और प्रबंधन प्रणाली साइबर अपराध की घटनाओं को आगे की कार्रवाई के लिए संबंधित राज्य स्तरीय कानून प्रवर्तन एजेंसियों को भेजती है।
टोल-फ्री हेल्पलाइन नंबर 1930 के प्रचार के लिए सलाह जारी
‘साइबरक्राइम डॉट जीओवी डॉट इन’ पोर्टल का उद्देश्य वित्तीय धोखाधड़ी की तत्काल रिपोर्टिंग को सक्षम बनाना और धोखेबाजों द्वारा धन की हेराफेरी को रोकना है। खाद्य एवं उपभोक्ता मामलों के राज्य मंत्री बी एल वर्मा ने एक प्रश्न के लिखित उत्तर में वित्तीय साइबर अपराधों से निपटने में पोर्टल की प्रभावशीलता पर जानकारी दी। गृह मंत्रालय ने सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों को पोर्टल और इसके टोल-फ्री हेल्पलाइन नंबर 1930 के प्रचार के लिए सलाह जारी की है।
210 शिकायतों में से 158 का निपटारा कर दिया गया
लोकपाल ने 2024-25 के दौरान 210 शिकायतें दर्ज कीं सरकार ने लोकसभा को सूचित किया कि चालू वित्त वर्ष में 30 नवंबर तक लोकपाल के पास 200 से अधिक शिकायतें दर्ज की गईं। केंद्रीय कार्मिक राज्य मंत्री जितेंद्र सिंह ने एक प्रश्न के लिखित उत्तर में कहा कि 210 शिकायतों में से 158 का निपटारा कर दिया गया है। उन्होंने कहा कि वित्त वर्ष 2023-24 के दौरान लोकपाल के पास कुल 166 शिकायतें दर्ज की गईं, जिनमें से कुल 156 शिकायतों का निपटारा किया जा चुका है।
केंद्र सरकार ने बुधवार को कहा कि सीवर और सेप्टिक टैंक की सफाई का काम जाति नहीं बल्कि व्यवसाय आधारित गतिविधि है, जबकि 90 प्रतिशत से अधिक सेप्टिक टैंक कर्मचारी एससी, एसटी या ओबीसी श्रेणियों से संबंधित हैं। लोकसभा में एक प्रश्न के लिखित उत्तर में, केंद्रीय सामाजिक न्याय और अधिकारिता राज्य मंत्री रामदास आठवले ने कहा कि नेशनल एक्शन फार मैकेनाइज्ड सैनिटेशन इकोसिस्टम (नमस्ते) योजना के तहत सूचीबद्ध 54,574 वैध सीवर और सेप्टिक टैंक श्रमिकों में से 37,060 एससी वर्ग से हैं।
सरकारी विभागों लेटरल एंट्री के माध्यम से 51 विशेषज्ञों का चयन
लोकसभा को सूचित किया गया कि लेटरल एंट्री के माध्यम से चुने गए 51 विशेषज्ञ केंद्र सरकार के विभिन्न विभागों के साथ काम कर रहे हैं। केंद्रीय कार्मिक राज्य मंत्री जितेंद्र सिंह ने एक लिखित उत्तर में कहा कि 2018 में इसकी स्थापना के बाद से लेटरल एंट्री के माध्यम से विभिन्न सरकारी विभागों में अनुबंध, प्रतिनियुक्ति के आधार पर संयुक्त सचिव, निदेशक, उप सचिव के स्तर पर अब तक 63 नियुक्तियां की गई हैं। उन्होंने कहा कि वर्तमान में मंत्रालयों, विभागों में 51 अधिकारी पदों पर हैं।